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यास तूफान (cyclone Yass) की पूरी जानकारी

ताऊते तूफान अभी थमा नहीं था कि एक और तूफान ने भारत में दस्तक दे दिया, इसका नाम यास रखा गया था। यह तूफान ताऊ ते से भी ज्यादा खतरनाक और घातक थी इसकी अत्याधिक रफ्तार तकरीबन 130 किलोमीटर प्रति घंटा से 140 किलोमीटर की प्रति घंटा की थी। ताऊते का नाम म्यांमार ने रखा था और यास तूफान का नाम ओमान ने रखा था। यास तूफान ओडिशा के बालेश्वर और भद्रक शहर में लैंड फॉल किया था। लैंड प्रभाव करीब ३ से ४ घंटा तक रहा ।
आपको बता दें की अलग-अलग तूफान के नाम अलग अलग देश के द्वारा रखे जाते हैं जिनमें भारत समेत कई और देश भी शामिल है। यास तूफान भारत के पूर्वी और दक्षिण पूर्वी राज्यों के लिए बहुत ही अहम था क्योंकि इन राज्यों में अत्यंत गंभीर चक्रवात तूफान यास पहुंच रहा था।
यास तूफान कहाँ लैंड फॉल किया था ?
यास तूफान ओडिशा के बालेश्वर और भद्रक शहर में लैंड फॉल किया था। उड़ीसा से होते हुए बंगाल और बिहार के राज्य में प्रवेश किया था। बंगाल और उड़ीसा के तट से टकराने के बाद यह तूफान बहरोगोडा के रास्ते झारखंड में प्रवेश किया था। प्रशासन द्वारा इस तूफान को देखते हुए हाई अलर्ट जारी कर दिया गया था और लोगों को चेतावनी दी गई थी, कि वह घरों से बाहर ना निकले।
मौसम विभाग के अनुसार इस तूफान को 23 मई 2021 को ही देखा था। यह तूफान एक उष्णकटिबंधीय डिस्टरबेंस यानी एक ट्रॉपिकल डिस्टरबेंस की वजह से चक्रवात पैदा हुआ था।
आपको बता दें कि ताऊते तूफान अरब सागर में बना था जबकि यास तूफान बंगाल की खाड़ी से उठा था। इसलिए इसका असर ज्यादातर पश्चिम बंगाल उड़ीसा और बिहार झारखंड के अन्य राज्य में देखने को मिला। बंगाल की खाड़ी में अंडमान के पास तापमान बढ़ने के कारण बहुत ही कम प्रेशर एरिया विकसित हुआ था जिससे एक गहरा डिप्रेशन पैदा हुआ और तूफान में बदल गया।
तूफान के लिए मौसम विभाग द्वारा जारी किया गया निर्देश अलर्ट
1- 26 और 27 मई 2021 को घरों से ना निकले। 2-कोई भी गाड़ी चलाने से बचें। 3-ग्रामीण क्षेत्र में पेड़ों के नीचे ना खड़े रहे। 4-खेतों और तालाब के पास ना जाए। 5-बिजली के तारों के नीचे या मोबाइल टावर के पास खड़े ना रहे। 6-बिजली कड़कने की आशंका है इसलिए घरों के दरवाजे और खिड़कियां को बंद रखें। 7-आपातकालीन सेवाओं के लिए अपने साथ emergency kit रखे।
यास तूफान कौन कौन से राज्यों को प्रभावित किया था?
ओडिशा, झारखंड, बिहार, के राज्यों की सूची जहां से यास तूफान गुजरने की आशंका है।
ओडिशा – बालासोर, भद्रक, केंद्रपारा , जगतसिंहपूर, पूरी, गनजाम, मयूरभंज, जजपुर, नयागढ, खुरदा, कटक, और गाजापटी
झारखंड- रांची, पूर्वी सिंहभूम, पश्चिम सिंहभूम, खूंटी, गुमला, सरायकेला, रामगढ, बोकारो, सिमडेगा, पलामू
बिहार- पटना, कटिहार, किशनगंज, रोहतास समेत 12 जिलों में alert जारी किया गया ।
तूफान से प्रदुषण
चक्रवात जब भी आता है अपने साथ तबाही लेकर आता है। इस तबाही में हमें जान माल सहित बहुत से अन्य सेवाओं का भी नुकसान होता है. चक्रवात तूफान अपने साथ तबाही तो लाता ही हैं साथ-साथ ये बहुत सारे प्रदूषण जैसे जल प्रदुषण, भूमि प्रदुषण को बढ़ावा देता है। चक्रवात के कारण पेड़ पौधे टूटकर सड़क पर बिखर जाते हैं नदी नाले जाम हो जाते हैं जिसके कारण प्रदूषण की समस्या बढ़ जाती है। यह प्रदूषण हमारे सेहत को नुकसान पहुंचाता है।
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